पेट के लिए जान हथेली पर
रांची(ब्यूरो)। पेट के लिए जान हथेली पर लेकर दुकानदार व्यापार कर रहे हैं। खासकर फुटपाथ दुकानदार खतरों से खेल कर कारोबार कर रहे हैं। जी हां, राजधानी रांची में सैकड़ों दुकानदार जिस स्थान पर दुकान लगाते हैं उसके ऊपर या तो ट्रांसफॉर्मर है या फिर बिजली का तार गुजरा हुबा है। इस भीषण गर्मी में शहर में आग लगने की घटनाएं बढ़ गई हैं। ज्यादातर यह घटना शार्ट सर्किट से ही हो रही है, जिसकी वजह बिजली होती है। बिजली के उपकरण, तार और दूसरे सामान आग लगने के बड़े कारण बन रहे हैं। ऐसे ही ज्वलनशील पदार्थ के नीचे दुकानदार अपनी दुकान सजा रहे हैं। कई बार ट्रांसफॉर्मर के नीचे दुकान सजी होती है और ऊपर स्पार्क हो रहा होता है। ऐसे में कभी भी बड़ा हादसा हो सकता है। हर इलाके में ऐसी ही तस्वीर
राजधानी रांची में कहीं भी व्यवस्थित ढंग से दुकानें नहीं हैं। हाल के दिनों में दो मार्केट तैयार किए गए हैं। लेकिन महज दो वेंडर मार्केट में पांच हजार दुकानदारों को बसाना संभव नहीं है। फुटपाथ दुकानदार जहां-तहां बैठकर दुकान सजा देते हैं। वे ये भी नहीं देखते हैं कि ऊपर से जानलेवा बिजली का ट्रांसफॉर्मर है या फिर बिजली के तार गुजरे हुए हैं, जिससे कभी भी कोई हादसा हो सकता है। हैरानी की बात तो यह है कि दुकानदारों को ऐसा करने से कोई रोकता भी नहीं है। न नगर निगम और न ही बिजली विभाग को कोई परवाह है। शहर के कोकर, लालपुर, मेन रोड, डोरंडा, चुटिया, अपर बाजार आदि इलाकों में ऐसी सैकड़ों दुकानें हैं जो ट्रांसफॉर्मर के नीचे सज रही हैं। नगर निगम ने दिया हटने का आदेशबढ़ती आगलगी की घटनाओं को देखते हुए निगम की ओर से ट्रासफॉर्मर के नीचे बैठकर दुकान लगाने वालों को जगह खाली करने को कहा गया था। लेकिन दुकानदारों ने इसे अनसुना कर दिया। नगर निगम की तरफ से कोई सख्ती नहीं होने के कारण दुकानदार अब भी डेंजर जोन में बैठ कर ही दुकानदारी कर रहे हैं। ऐसे में दुकानदारों के साथ-साथ ग्राहकों की जान को भी खतरा है। कुछ जगहों पर तस्वीर काफी डरावनी है। ट्रांसफॉर्मर के ठीक नीचे कपड़ा, जूता और सब्जी की दुकानें सजी हैं। यहां स्पार्क होने पर पूरे मार्केट में आग फैल जाएगी। सिटी के भीड़भाड़ वाले इलाकों में ट्रांसफॉर्मर के नीचे दुकानें सज रही हैं। इन दुकानदारों के पास सुरक्षा के कोई इंतजाम नहीं होते हैं। उलटे इनके पास पॉलीथिन, लकड़ी जैसे ज्वलनशील सामान होते हैं। स्पॉट 1: कोकर
कोकर डिस्टिलरी पुल के समीप सब्जी बाजार सजता है। यहां कुछ दुकानें ऐसी हैं जो बिल्कुल ट्रांसफॉर्मर के नीचे ही सज रही हैं। ट्रांसफॉर्मर में लगने वाले दो इलेक्ट्रिक पोल के बीचोंबीच दुकानदार ने दुकान सजा ली है। जो कभी भी बड़े हादसे का कारण बन सकता है। स्पॉट 2: मेन रोडमेन रोड उर्दू लाइब्रेरी के आसपास भी कई ऐसी दुकानें हैं जो ट्रांसफॉर्मर के नीचे सजती हैं। कपड़े और जूते की दुकान भी ट्रांसफॉर्मर के ठीक नीचे सज रही है। हल्की चिंगारी भी आग का बड़ा रूप ले सकती है।स्पॉट 3: थड़पखना लालपुर और थड़पखना में भी पान दुकान और बेल्ट दुकान है जो ट्रांसफॉर्मर के नीचे लग रही है। दुकानों को हटाने का आदेश निगम की ओर से दिया गया था। लेकिन फिर भी जगह के अभाव में दुकानदार खतरनाक स्थान में ही दुकान लगा रहे हैं। स्पॉट 4: अल्बर्ट एक्का चौक अल्बर्ट एक्का चौक के समीप भी एक लाइन से बिजली के ट्रांसफॉर्मर के नीचे दुकाने लग रही हैं। प्रचंड गर्मी में ट्रांसफॉर्मर में कई बार स्पार्क होता है। लेकिन दुकानदार अपने दुकान पर बैठे रहते हैं। हो चुकी हैं आगलगी की कई घटनाएं
अपर बाजार, डोरंडा बाजार जैसे भीड़भाड़ वाले स्थान में आगलगी की घटनाएं पहले भी हो चुकी हैं। यहां भी शार्ट सर्किट के कारण ही आग लगी थी। अपर बाजार में रहने वाले लोगों का कहना है कि इस इलाके के ट्रांसफॉर्मर और बिजली के तार काफी पुराने और जर्जर हो चुके हैं। इसमें आए दिन स्पार्क होता रहता है। बिजली के पोल पर कई बार आग लग चुकी है। जिसे लोकल लोगों ने बालू और पानी से बुझाया है। इन खतरनाक जगहों पर दुकान लगाने वालों की दुकानों में भी आग लग सकती है। जिससे काफी आर्थिक नुकसान भी हो सकता है। इसी महीने अपर बाजार के नार्थ मार्केट रोड स्थित बिजली के तार में आग लगी थी।
जिन स्थानों पर ट्रांसफॉर्मर या बिजली के उपकरण हैं वहां से दुकान हटाने का निर्देश दिया गया है। इसे लेकर पूरे शहर में अभियान चलाया जा रहा है। कुंवर सिंह पाहन, एएमसी, आरएमसी