भक्तों का चलता जोर तो मंदिर चांद पे हम बनवाते...
जमशेदपुर (ब्यूरो): जा के सर पर हाथ अपनी कुल देवी का होवे., मेंहदी मंडवा ले मईया मेंहदी लाया राचनी, भक्तों का चलता जोर तो मंदिर चांद पे हम बनवाते, मैया थारा टाबरियां थाने याद करे थारे से है मैया फरियाद करे, भक्तों ने ज्योत जलाई मैया दौड़ी चली आई, मईया थारी चुदड़ी में कुछ तो बात हैं, मइया थारे हाथ रचावण घनी राचणी मेहंदी लाया, तेरे भरोसे मेरा परिवार है, ऊंचो राख निशान मैया को लांबी डोरी खींच, मेरो हाथ पकड़ ले मइया मेरो मन घबरावे, माता थारो प्यार बरसो लो बेमुसार, सबको देती हैं मइया अपने खजाने से., काजल शिखर पर जीण भवानी को स'चा दरबार है आदि श्री जीण माता के भजनों पर भक्त झूमते रहे। मौका था शहर की धर्मिक संस्था श्री जीण माता परिवार जमशेदपुर द्वारा आयोजित जीण माता का 17वां वार्षिक महोत्सव का।
भजनों पर झुमाया
साकची बंगाल क्लब में कोलकात्ता के आमंत्रित भजन गायक विवेक शर्मा एवं हर्षिता डीडवानिया ने भजनों की अमृत वर्षा कर महोत्सव में उपस्थित सैकड़ों भक्तों को देर रात तक झूमने पर मजबूर कर दिया। स्थानीय भजन गायक महावीर अग्रवाल ने भी मंच का संचालन करने के दौरान हनुमान को खुश करना आसान होता है, जीण भवानी कुल धणियानी, हम मैया वाले हैं सुनो जी हम मैया वाले हैं, ये मैया का परिवार है ये मैया का परिवार हैं समेत माता के कई भजन प्रस्तुत किये।801 महिलाएं हुई शामिलइससे पहले दोपहर 3.30 बजे से गणेश वंदना मेरे लाडले गणेश प्यारे प्यारे और जीण-जीण भज बारंबारा हर संकट का हो निस्तारा की गूंज के साथ श्री जीण शक्ति मंगल पाठ का आयोजन शुरू हुआ, जिसमें 801 महिलाएं चुदड़ी ओढ़े हुए राजस्थानी परिधान में शामिल हईं। मंगल पाठ का वाचन जयपुर (राजस्थान) से आये रविश-सोनम सोनी की जोड़ी ने किया। चुनड़ी एवं बधाई उत्सव के दौरान ओढ़ों-ओढ़ो म्हारी माता रानी आज भक्त लाया थारी चुदड़ी। चांद सा सुंदर मुखड़ा जिसका, छोटी सी प्यारी सी और बांटो रे बांटो बधाई जम के भंवरा वाली मईया आयी सिंह चढ़ के भजन पर महिलाएं नाचने लगीं। मंगल पाठ वाचन के दौरान कलाकारों ने कर लो मंगल पाठ ये तो जीने का सहारा हैं, आओ मां आओ मां मेरे घर जल्दी आओ, चौंसठ मांगनी ताई थारे मंदिर में रूक जाना, देखो मंगल शुभ घड़ी आई गंगोसिंह के बजे बधाई। आदि भजनों की शानदार प्रस्तुति दी।ये रहा आकर्षण का केन्द्र
मंगल पाठ से पहले 'योत प्र'जवलन एवं पूजा में यजमान रमेश अग्रवाल, अनील अग्रवाल, विमल रिंगसिया और विटटल अग्रवाल सपत्नी समेत अरुण बांकरेवाल शामिल हुए। पुजारी महेश शर्मा ने पूजा करायी। इस धार्मिक महोत्सव में श्री जीण मंगल पाठ, माता का भव्य दरबार, दिव्य अखंड 'योत, विशाल संकीर्तन एवं छप्पन भोग प्रसाद आकर्षण का केन्द्र बना रहा। साज पर कोलकाता के गंगा राम एंड टीम के कलाकारों ने अपनी कला का प्रदर्शन किया। कोलकाता के कारीगरों द्वारा माता का भव्य दरबार सजाया गाया था। रात में मां जीण की रसोई (भंडारा) लगभग 2500 से अधिक भक्तों ने ग्रहण किया। कुल मिलाकर कहा जा सकता है कि सभी कलाकारों ने भजनों की रस में भक्तों को डुबोये रखा। इस महोत्सव में रांची, चाकुलिया, रानीगंज, खडग़पुर, आसनसोल और कोलकात्ता से भी भक्त आए थे।अतिथि हुए सम्मानितमौके पर बतौर अतिथि समाजसेवी ओमप्रकाश अग्रवाल (रांची), रामकृष्ण चौधरी (बिजु बाबू), अशोक भालोटिया, निर्मल काबरा, उमेश शाह, अशोक मोदी, मुकेश मित्तल शंकर सिंघल, राजेश मेंगोतिया, विमल मेंगोतिया आदि मौजूद थे। सभी अतिथियों ने माता के दरबार में माथा टेका और 'योत ली। सभी अतिथियों को दुपटटा पहनाकर सम्मानित किया गया। कार्यक्रम का संचालन संस्था के अध्यक्ष बजरंग लाल अग्रवाल एवं भजन गायक महावीर अग्रवाल ने संयुक्त रूप से किया।इनका रहा योगदान
इस धार्मिक कार्यक्रम को सफल बनाने में प्रमुख रूप से संस्था के संस्थापक शंभू खन्ना, अध्यक्ष बजरंगलाल अग्रवाल, उपाध्यक्ष राजकुमार रिंगसिया, सचिव सुनील देबुका, संस्थापक एवं कोषाध्यक्ष विनोद खन्ना, सह सचिव प्रमोद खन्ना, कार्यक्रम संयोजक बजरंग अग्रवाल, जगदीश खेमका, अनंत अग्रवाल, अंकित अग्रवाल, मनीष खन्ना, आशीष खन्ना समेत जीण माता परिवार के सभी सदस्यों का योगदान रहा।