भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन इसरो देश के पहले सौर मिशन आदित्य-एल1 के प्रक्षेपण की तैयारी में है। केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह ने लोकसभा में इसके बारे में बताया कि इस मिशन का मुख्य उद्देश्य सूर्य का अध्ययन करना है और इससे देश को काफी फायदा होने वाला है।


मंत्री ने इसके बारे में बतायाकेंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह ने लोकसभा में कहा कि भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) देश के पहले सौर मिशन "आदित्य-एल1" के प्रक्षेपण की तैयारी में है। इसका मुख्य उद्देश्य ‘सन-अर्थ लैग्रैनियन प्वाइंट 1’ (एल 1) की कक्षा से सूर्य का अध्ययन करना है। उन्होंने कहा कि यह मिशन पूरी तरह से एक स्वदेशी प्रयास का परिणाम है, जिसमें पूर्ण रूप से राष्ट्रीय संस्थाओं की हिस्सेदारी है। इसके अलावा तटीय सुरक्षा को मजबूत करने के साथ जल्द ही इसरो की उपग्रह तस्वीरों के माध्यम से समुद्र में विभिन्न संदिग्ध जहाजों और नौकाओं की निगरानी की जाएगी।नहीं होंगे आतंकवादी हमले


बता दें कि तटीय सुरक्षा घेरे के तहत इसरो अगले साल मार्च से 1000 ट्रांसपोर्डर प्रदान करेगा, जिससे 26/11 मुंबई जैसे हमलों को नाकाम किया जा सकेगा। इसको लेकर गृह मंत्रालय के एक अधिकारी ने बताया कि 20 मीटर तक की नौकाओं के लिए सेटेलाइट निगरानी का प्रस्ताव रखा गया है। भारत ने 2008 के आतंकवादी हमले के बाद तटीय सुरक्षा पर कड़ी निगरानी कर दी है।समुद्र के जरिये आये थे आतंकवादी

वर्ष 2008 में हमले के दौरान पाकिस्तान से दस आतंकवादी अरब सागर के जरिये मुंबई आये थे और उन्होंने तब 166 लोगों की जान ली थी। बता दें कि अभीतक करीब 19.74 लाख मछुआरे बायोमैट्रिक पहचान पत्र के लिए रजिस्ट्रेशन करा चुके हैं, जिनमें 18.60 लाख को पहचानपत्र दिया भी जा चुका है। गृह मंत्रालय के अधिकारी ने बताया कि नौकाओं की निगरानी के लिए 20 मीटर से अधिक लंबी नौकाओं पर आटोमेटिक पहचान सिस्टम लगायी जाएगी। इसके अलावा गहरे समुद्र और अंतरराष्ट्रीय समुद्री सीमा पर निगरानी के लिए तटीय राज्य एवं केंद्रशासित प्रदेश के नौकाओं पर कलर कोडिंग की जायेगी।

Posted By: Mukul Kumar