18 साल में पृथ्वी जैसा खेलता है हम उसका 10 परसेंट भी नहीं खेल पाते थे : विराट कोहली
कानपुर। वेस्टइंडीज के खिलाफ दो टेस्ट मैचों की सीरीज टीम इंडिया ने अपने नाम की। भारत की घर पर यह लगातार 10वीं टेस्ट सीरीज जीत है और इस जीत के हीरो हैं युवा भारतीय बल्लेबाज पृथ्वी शॉ। शॉ के टेस्ट करियर कर यह पहली सीरीज थी और वह इसमें 'मैन ऑफ द सीरीज' रहे। 18 साल के शॉ ने कैरबियाई गेंदबाजों का जिस तरह से सामना किया वह वाकई काबिलेतारीफ है। टीम इंडिया के कप्तान विराट कोहली तो शॉ की बल्लेबाजी से काफी प्रभावित हुए।
मैच के बाद कोहली ने शॉ की तारीफ में कहा, 'किसी भी टीम के लिए इससे बेहतर क्या हो सकता है कि जैसी आप शुरुआत चाहें और वो आपको मिल जाए। शॉ ने बतौर ओपनर यह काम बखूबी निभाया, वो भी तब जब यह उसके टेस्ट करियर का आगाज था। शॉ काफी निडर होकर बल्लेबाजी करता है और वहीं कहीं भी जल्दबाजी नहीं दिखाता। उसे अपने खेल पर पूरा भरोसा है। ऐसा ही कुछ हमने इंग्लैंड में भी देखा था जब शॉ नेट्स पर बल्लेबाजी कर रहा था, वह अटैकिंग शॉट खेलता है मगर पूरे कंट्रोल के साथ। नई गेंद के सामने शॉट पर इतना कंट्रोल करना वाकई काबिलेतारीफ है।'
भारतीय क्रिकेट टीम के कप्तान ही नहीं कोच भी शॉ की प्रशंसा करते नहीं थक रहे। टीम इंडिया के कोच रवि शास्त्री ने तो यहां तक कह दिया कि उन्हें शॉ के अंदर तीन दिग्गज बल्लेबाजों की छवि नजर आती है। भारतीय कोच ने कहा, '' शॉ का जन्म क्रिकेट खेलने के लिए ही हुआ है। वह आठ साल की उम्र से मुंबई के मैदानों में खेल रहा है। आप उसकी कड़ी मेहनत देख सकते हो। दर्शकों को भी उसका खेल शानदार लगता है। उसमें थोड़ी सचिन की और थोड़ी सहवाग की झलक दिखती है और जब वह चलता है तो उसमें लारा की भी झलक दिखती है।'डेब्यू टेस्ट में शतक जड़ने वाले सबसे युवा भारतीय बल्लेबाज बने पृथ्वी शॉपृथ्वी शॉ ने डेब्यू टेस्ट में मारी सेंचुरी, जानें कितने भारतीय पहले मैच में जड़ चुके हैं शतक