इंटरनेट ई-मेल और सोशल नेटवर्क के इस ज़माने में हम @ इस प्रतीक का ख़ूब इस्तेमाल करते हैं। मगर कभी आपने सोचा है कि इस @ यानी 'ऐट द रेट ऑफ़' चिह्न का इस्तेमाल पहली बार कब हुआ? अंग्रेज़ी में ये प्रतीक अक्षर कहां से आया? अगर आप अंग्रेज़ी नहीं बोलते हैं तो इसके बारे में बात करना और भी दिलचस्प होगा।


तो चलिए इस @ से जुड़े दिलचस्प क़िस्से आपको सुनाते हैं।दुनिया भर में अलग-अलग ज़ुबानें बोलने वाले इस 'ऐट द रेट ऑफ़' को अलग नामों से बुलाते हैं। मसलन, आर्मीनियाई ज़बान में इसे दुबका हुआ कुत्ते का बच्चा कहते हैं। वहीं चीन में घुमावदार ए कहते हैं। ताईवान में बोली जाने वाली चीनी भाषा में इसे छोटा चूहा कहते हैं। वहीं, डेनिश ज़ुबान में हाथी की सूंड।यूरोप के ही एक और देश में @ को कीड़ा कहते हैं। वहीं, मध्य एशियाई देश कज़ाख़िस्तान में चांद का कान। जर्मनी में @ को स्पाइडर मंकी, यानी मकड़ी की तरह चिपकने वाला बंदर। यूनानी @ को छोटी बत्तख़ के नाम से बुलाते हैं।
ऐसा नहीं कि हर देश में @ यानी ऐट द रेट ऑफ़ प्रतीक को जानवरों वाला नाम ही दिया गया हो। बोस्निया में इसे झक्की A कहते हैं। वहीं स्लोवाकिया में अचारी फ़िश रोल, तो तुर्की में ख़ूबसूरत वाला A कहकर बुलाते हैं।वैसे, 'ऐट द रेट ऑफ़' यानी, @ के सबसे पहले इस्तेमाल का ज़िक्र 1536 का मिलता है। जब इटली के फ्लोरेंस शहर के एक कारोबारी ने, अपनी चिट्ठी में वाइन का रेट बताने के लिए @ प्रतीक को इस्तेमाल किया।


अंग्रेज़ी के इस प्रतीक शब्द का मूल स्पेनिश और पुर्तगाली भाषा में है। दोनों ही ज़बानों में वज़न तोलने के लिए इस @ का इस्तेमाल होता है। जिस डिब्बे या बर्तन में ये वज़न किया जाता है, वो भी इसके इस्तेमाल से ही जुड़ा है। ऐसे डिब्बों में अक्सर वाइन का कारोबार होता था। ग्रीस और रोमन साम्राज्य, दोनों जगह पुराने ज़माने में ऐसे डिब्बे चलन में थे। इन्हीं से ये @ प्रतीक, अंग्रेज़ों के देश पहुंचा।अब, प्यारे कुत्ते से लेकर छोटी बत्तख़ और अचारी फ़िश रोल से लेकर घोंघे तक, पूरी दुनिया, ई-मेल का पता बताने वाले @ को अलग-अलग नाम से जानती-मानती है।आज आप बड़े आराम से एक बटन दबाते हैं, इस @ चिन्ह को मेल के पते में इस्तेमाल करते हैं। फिर आपका ये ई-ख़त सही आदमी तक पहुंच जाता है। सोचिए ज़रा, भूमध्यसागर में वाइन के डिब्बों से होता हुआ ये 'ऐट द रेट ऑफ़' यानी @ आज पूरी दुनिया पर राज कर रहा है।

Posted By: Satyendra Kumar Singh