यूरोपीय संसद के लिए हुए चुनावों में दक्षिणपंथी पार्टियों को ज़बरदस्त समर्थन मिला है जिसे फ्रांस के प्रधानमंत्री ने 'राजनीतिक भूकंप' की संज्ञा दी है.


फ्रांस में फ्रेंच नेशनल फ्रंट और ब्रिटेन में यूके इंडिपेंडेस पार्टी को ज़बरदस्त जनसमर्थन मिला है और दोनों ही जीत की ओर बढ़ रही हैं. ये दोनों पार्टियां यूरोपीय संघ की विरोधी हैं.लेकिन  डेनमार्क में भी सत्ताधारी दल यूरोपीय संघ विरोधी दल से हार गए हैं.ग्रीस और  स्पेन में भी सत्ताधारी दलों के मुक़ाबले वामपंथी दलों का प्रदर्शन बेहतर रहा है.चुनाव नतीजों के मायने यह होंगे कि यूरोपीय संघ की ताक़त कम करने और इसे ख़त्म करने की माँग करने वालों की आवाज़ और बुलंद हो जाएगी.कमान
कट्टरपंथी पार्टी फ्रेंच नेशनल फ्रंट की नेता मैरीन ले पेन ने पेरिस में पार्टी मुख्यालय के बाहर जश्न मना रहे प्रशंसकों के बीच कहा कि जनता ने साफ़ कर दिया है कि अब उसे अपनी सीमाओं के बाहर के लोगों का नेतृत्व नहीं चाहिए. वे वैश्वीकरण के असर से बचना चाहते हैं और अपनी क़िस्मत बदलना चाहते हैं.हालांकि  यूरोपीय संघ विरोधी धड़ों के बेहतर प्रदर्शन के बावजूद यूरोपीय संघ की कमान संघ समर्थकों के हाथ में ही रहेगी.


यूरोपियन पीपुल्स पार्टी के नेता जीन क्लॉड जंकर ने कहा, "मीडिया के एक हिस्से में कहा जा रहा था यूरोपीय संघ की विरोधी पार्टियां चुनाव जीत जाएंगी लेकिन वैसा नहीं हुआ है. सभी देशों ने ताक़त लगाई है. यदि आप सबको, समाजवादियों और उदारवादियों को एक साथ देखो तो बहुमत यूरोप के पक्ष में दिखेगा."ब्रिटेन में यूके इंडिपेंडेस पार्टी ज़बरदस्त जीत की ओर अग्रसर है. पार्टी नेता नाइजल फैरेज ने ब्रिटेन में पहले स्थान पर आने की उम्मीद जताई है और कहा, "यूरोपीय एकता की अनिवार्यता आज रात समाप्त होती है."

Posted By: Satyendra Kumar Singh