दीपा करमाकर ने फिर से एक साथ पांच स्वर्ण पदकों पर किया कब्जा
क्या कहना है दीपा का
इतनी बड़ी उपलब्धि को हासिल करने के बाद दीपा का कहना है कि पिछले खेलों की तरह ही इस बार भी इन वर्गों में स्वर्ण पदक हासिल करके वह बहुत खुश और रोमांचित महसूस कर रही हैं. उन्होंने कहा कि वह अपने ओवरऑल प्रदर्शन से काफी खुश हैं और पहले की तुलना में उन्होंने ज्यादा अंक भी हासिल किये. इसके बाद उन्होंने कहा कि इन सबके बाद भी वह टेबल वाल्ट में कुछ कम अंक मिलने से काफी निराश हैं. इसको लेकर उन्होंने कहा कि वह आगे इस वर्ग में प्रदर्शन में सुधार करेंगी.
रजत पहुंचे सेमीफाइनल में
राजस्थान निवासी रजत चौहान तीरंदाजी की प्रतियोगिता के पुरुष कम्पाउंड वर्ग के सेमीफाइनल राउंड में पहुंच गये हैं. बताते चलें कि क्वार्टरफाइनल में रजत ने मध्यप्रदेश के सानातुम्बा को 144-137 से शिकस्त दी थी. रविवार को अब सेमीफाइनल में उनका मुकाबला तेलंगाना के डी. क्रांति से होगा. वहीं एक अन्य तीरंदाज सर्वेश पारीक क्वार्टरफाइनल में पहुंचकर हार गये. इनके अलावा पहले दिन मुक्केबाजी में राजस्थान के हरि सिंह ने 91 किग्रा वर्ग के पहले राउंड में नॉकआउट जीत दर्ज की.
लॉन बॉल में कौन रहा आगे
इनके बाद लॉन बॉल के पुरुष युगल के लीग मैच में राजस्थान के प्रोबीर नंदी और अमर नाथ झा की जोड़ी ने मणिपुर को 24-12 से शिकस्त दी. इनके अलावा जिम्नास्टिक के पुरुष वर्ग में राष्ट्रमंडल खेलों के पदक विजेता आशीष कुमार ने पैरेलल बार्स में रजत व टेबल वॉल्ट में कांस्य पदक झटका. इस बीच हैंडबॉल प्रतियोगिता में छत्तीसगढ़ व दिल्ली ने क्रमश: पुरुष व महिला वर्ग स्पर्धा में स्वर्ण पदक जीता. पुरुषों में गुजरात को रजत व दिल्ली ने कांस्य पदक जीता, जबकि महिलाओं में छत्तीसगढ़ और हरियाणा की टीम ने क्रमश: रजत व कांस्य पदक जीता.
शुरू हुई मुक्केबाजी प्रतियोगिता
बॉक्सिंग इंडिया के राष्ट्रीय खेलों के बहिष्कार करने और राज्य संघों को प्रतिबंधित करने की धमकी के बावजूद शुक्रवार से खेलों में मुक्केबाजी प्रतियोगिता का शुभारंभ हो गया. ऐसे में सभी 27 राज्य मुक्केबाजी संघों व सेना के मुक्केबाज प्रतियोगिता में हिस्सा लेने पहुंचे. वो बात और है कि इस दौरान काफी हंगामा भी हुआ. ऐसा इसलिये क्योंकि आयोजकों ने पुरानी स्कोरिंग प्रणाली के मुताबिक ही मुकाबले कराने का फैसला लिया. उन्होंने इसका कारण नये सॉफ्टवेयर का नहीं होना बताया. फिलहाल इसका विरोध करते हुए सभी टीमों ने इस बात की मांग की, कि पुराने नियमों के अनुसार मुक्केबाजों को हैड गार्डस पहनने की अनुमति देनी होगी.
निशानेबाजी में सेना रही आगे
निशानेबाजी प्रतियोगिता में सेना का दबदबा कायम रहा. ऐसे में सेना ने 30 स्वर्ण पदकों में से 13 पदकों को अपने नाम किया. सेना के निशानेबाजों ने 13 स्वर्ण पदक, चार रजत व छह कांस्य समेत कुल 23 पदकों को अपने नाम किया. इसके साथ ही महाराष्ट्र 11 पदकों के साथ दूसरे और पंजाब तीसरे नंबर पर रहा. सेना के सत्येन्द्र सिंह ने पुरुषों की 50 मी. राइफल थ्री स्पर्धा का खिताब अपने नाम किया.