अमरीका के कनेक्टीकट राज्य के न्यूटाऊन शहर में क्लिक करें स्कूल पर हमला कर 26 लोगों को मारने वाले हमलावर ने एक राइफल का इस्तेमाल किया था.

राज्य के मुख्य चिकित्सा अधिकारी एच वेन कार्वर ने संवाददाताओं को बताया कि स्कूल में मारे गए सभी लोग राइफल की गोली के शिकार हुए.इस बीच, हमले का शिकार हुए सभी बच्चों और बाकी लोगों की सूची जारी कर दी गई है.मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने बताया कि मारे गए 20 बच्चों में 12 लड़कियां और 8 लड़के थे.

उन्होंने बताया कि कई बच्चों को कई-कई बार गोलियां दागी गई थी. इसके अलावा जो भी लोग हमले के शिकार हुए वो सभी महिलाएं थीं.मृतकों की सूची में सैंडी हुक स्कूल की प्रधानाध्यापिका का भी नाम शामिल हैहमले में जिस सबसे छोटे बच्चे की गोलीबारी में मौत हो गई उसने हाल ही में अपनी छठी वर्षगांठ मनाई थी.

हमला आखिर क्यों

युवक ने स्कूल को ही निशाना क्यों बनाया इसकी वजह अभी तक नहीं पता चल सकी है.लेकिन कनेक्टीकट पुलिस लेफ्टिनेंट पॉल वैन्स का कहना है कि पुलिस को जितने सबूत मिले हैं उससे हमले के कारणों को जानने में आसानी होगी.वैन्स ने इससे पहले कहा कि हमलावर स्कूल में जबरन घुसा था और आते ही उसने गोलीबारी शुरू कर दी.

हमलावर की पहचान 20 वर्षीय एडम लान्ज़ा के रूप में की गई है.बताया जा रहा है कि हमलावर ने जिस राइफल का इस्तेमाल किया उसका लाइसेंस उसकी मां के नाम से ही था जिसे उसने हमले को अंजाम देने के पहले घर पर ही मार डाला.

हालांकि इस बात पर अभी विवाद बना हुआ है कि सैंडी हुक स्कूल में कभी उसकी मां पढ़ा चुकी थी.स्वास्थ्य अधिकारी ने कहा कि हमलावर ने स्कूल में सभी लोगों को राइफल से गोली मारी और वह भी बेहद करीब से.

हमलावर के पिता स्तब्ध

संदिग्ध हमलावर के पिता पीटर लान्ज़ा का कहना है कि परिवार इस बात को समझने की कोशिश कर रहा है कि उसे आखिर हुआ क्या था. पीटर लान्ज़ा ने एक बयान में कहा कि हमारा परिवार उन सब परिवारों के साथ शोक में शामिल है जो इस दर्दनाक घटना से प्रभावित हुए हैं.

पुलिस का कहना है कि ये घटना चंद मिनट में ही हुई. जैसे ही स्कूल की इमारत के दूसरे हिस्सों में मौजूद अध्यापकों ने गोलियों की आवाज़ सुनी तो उऩ्होंने दरवाज़े बंद कर लिए ताकि उनकी क्लास के बच्चे सुरक्षित रह सकें.

एक अध्यापिका कैथलीन रोइंग ने बताया , ''मैंने सब बच्चों से कहा कि एकदम शांत रहो, बिल्कुल भी शोर मत करो क्योंकि मैं इतना डरी हुई थी कि अगर हमलावर यहां आ गए तो वे हमारी आवाज़ सुन लेंगे और दरवाजे पर गोलियां चलाने लगेंगे.'' लाइब्रेरी के क्लर्क मारियान ज़ैकब ने घटना का विवरण देते हुए बताया कि 18 बच्चे घुटनों के बल चलते हुए स्टोर रूम में छिप गए.

Posted By: Garima Shukla