योगा एनशियेंट टाइम से ही इंडिया में एक्सेप्टेड हेल्दी और प्योर लाइफ स्टाइल है जिसे अब इंटरनेशनल लेबल पर भी रिक्गनीशन मिल गया है. इस बारे ने प्राइम मिनिस्टिर नरेंद्र मोदी ने ट्वीट करके यूनाइटेड नेशन को थैंक्स कहा है उन्होंने अपने ट्वीट में कहा कि योग में हृयूमैनिटी को यूनाइट करने की पॉवर है. योग में ज्ञान, कर्म और भक्ति का कांबिनेशन है. उन्होंने ये भी कहा कि वे सभी 177 कंट्रीज के थैंकफुल हैं जिन्होंने 21 जून को इंटर नेशनल योग डे मनाने के रेज्यूलेशन को सर्पोट किया. उन्होंने कहा कि दुनिया भर में अनगिनत लोगों ने योग को अपनी लाइफ का पार्ट बनाया है. अब और भी ज्यादा लोग इससे जुड़ेंगे.
The fact that 177 nations across all continents came together & co-sponsored the resolution shows the integrative power of Yoga.
— Narendra Modi (@narendramodi) December 12, 2014
रिकार्ड टाइम और सर्पोट से पारित पास
21 जून को ‘इंटर नेशनल योग डे’ डिक्लेयर करने के लिए थर्सडे को यूनाइटेड नेशन जनरल असेंबली में इंडिया के अंबेसेडर अशोक मुखर्जी ने रेज्यूलेशन प्रेजेंट किया. इस पर डिस्कशन के दौरान 177 कंट्रीज ने इसे सर्पोट किया. सबसे खुशी की बात ये है कि यूनाइटेड नेशन जनरल असेंबली में इतनी जबरदस्त मेजोरिटी पास होने का भी रिकार्ड इस रेज्यूलेशन ने बनाया है. इससे पहले इतने भारी फेवर के साथ असेंबली में कोई रेज्यूलेशन पास नहीं हुआ. इतना ही नहीं, यूनाइटेड नेशन में दूसरा रिकार्ड 90 दिन में किसी देश के रेज्यूलेशन को प्रेजेंट करके उसे लागू कराने का भी बन गया है.
Why June 21
नार्दन हेम्मीशेफर में 21 जून सबसे लंबा दिन होता है. इसीलिए वर्ल्ड की मेक्सिमम कंट्रीज में इस दिन की स्पेशल इंर्पोटेंस है. लिहाजा मोदी ने 21 जून को योग डे सेलिब्रेट करने का सजेशन दिया था.
योग है हेल्थ के लिए इंर्पोटेंट
तीन महीने पहले 193 मेंबर्स वाली यूनाइटेड नेशन असेंबली में इंडियन प्राइम मिनिस्टर ने इंटर नेशनल योग डे का थॉट रखा था जिसे सरप्राइजिंगली को स्पांसर बने 177 देशों का सर्पोट मिला है. ग्लोबल हेल्थ और फॉरेन पॉलिसी के एजेंडा के अंडर एक्सेप्ट किए गए रेज्यूलेशन में कहा गया है कि योग हेल्थ के लिए होलिस्टिक अप्रोच रखता है और नेसेसरी एनर्जी अवेलेबल करता है. मोदी ने सितंबर में सअसेंबली के सेशन में इसी कांटेस्ट की बात कही थी. 21 जून को इंटरनेशनल योग डे डिक्लेयर करने के अलावा कहा गया है कि योग से होने वाले बेनिफिटस की जानकारियां फैलाना वर्ल्ड वाइड लोगों की हेल्थ इंप्रूव करने में हेल्पफुल होगा.
कौन सी हैं 177 कंट्रीज
इस इश्यू पर इंडियन मिशन ने अक्टूबर में यूएन सेंबली में एक फॉर्मल डिस्कशन भी किया था जिसमें रिप्रेंजटेटिव्स ने अपनी ओपीनियन रखी थी. फॉरन मिनिस्ट्री के स्पोपक्समैन सैयद अकबरुद्दीन ने ट्वीट के जरिये यू एन में इंडिया के रेज्यूलेशन को सर्पोट करने वाली 177 कंट्रीज की इंफार्मेशन दी. उन्होंने बताया कि इन कंट्रीज में नॉर्थ अमेरिका की 23, साउथ अमेरिका की 11, यूरोप की 42, एशिया की 40, अफ्रीका की 46 और पैसफिक आइसलैंड की 12 कंट्रीज शामिल हैं.
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