RANCHI: झारखंड में सोलर एनर्जी पार्क के निर्माण पर ग्रहण लगता नजर आ रहा है। राज्य के किसी भी जिले में एक जगह 1000 एकड़ जमीन ही नहीं मिल पा रही है। नतीजन, राज्य सरकार की ओर से अब तक केंद्र को पार्क निर्माण का प्रस्ताव नहीं भेजा जा सका है। गौरतलब हो कि मिनिस्ट्री ऑफ न्यू एंड रिन्युवल एनर्जी भारत सरकार की ओर से देश भर के राज्यों से प्रस्ताव मांगा गया था। 20 से अधिक राज्यों ने पार्क बनाने के लिए प्रस्ताव भी भेज दिया है। लेकिन, झारखंड से प्रस्ताव नहीं भेजा जा सका है।
नहीं मिल रही जमीन
झारखंड रिन्युवल एनर्जी के प्रोजेक्ट डायरेक्टर अरविंद कुमार ने बताया कि हमलोगों ने सभी जिलों को पत्र लिख कर जमीन उपलब्ध कराने को कहा है। लेकिन, अब तक किसी जिले से पत्र का जवाब नहीं आया है। हमलोग जमीन खोज रहे हैं। जमीन नही मिल पाने के कारण ही अब तक प्रस्ताव नहीं भेजा जा सका है। जमीन मिलते ही प्रस्ताव भेज दिया जाएगा।
200 मेगावाट बनती ऊर्जा
कम से कम 1000 एकड़ जमीन में बने एक सोलर एनर्जी पार्क में 200 मेगावाट सोलर एनर्जी का प्रोडक्शन होगा। पार्क के लिए मिनिस्ट्री ऑफ न्यू एंड रिन्युवल एनर्जी भारत सरकार द्वारा मिनिमम 1000 एकड़ जमीन की जरूरत तय की गई है।
अब 50 पार्क का लक्ष्य
केंद्र सरकार ने पहले 25 सोलर पार्क बनाने का निर्णय लिया था। 20 हजार मेगावाट एनर्जी प्रोडक्शन का लक्ष्य था। लेकिन, राज्यों व इनवेस्टर्स का ख्याल रखते हुए सरकार ने इसे दोगुना करते हुए 50 सोलर पाकर् बनाने की घोषणा की है। वहीं, अब एनर्जी प्रोडक्शन का लक्ष्य भी बढ़ कर 40 हजार मेगावाट हो गया है।
क्या है सोलर एनर्जी पार्क
सोलर एनर्जी पार्क में एक साथ कई प्लांट लगाए जा सकते हैं। इसमे पैनल, सोलर सेल सहित सभी तरह के इक्विपमेंट्स की मैन्युफैक्चरिंग भी होगी। पार्क में सिविक इंफ्रास्ट्रक्चर भी रहेगा। प्लांट लगाने के लिए सभी तरह के अप्रूवल पार्क में ही मिल जाएंगे। साथ ही प्लांट लगाने के लिए केंद्र सरकार से मिलने वाली सब्सिडी भी आसानी से उपलब्ध होगी। सरकार 20 लाख रुपए प्रति मेगावाट या कुल प्रोजेक्ट का 30 प्रतिशत सब्सिडी देगी।
फर्स्ट फेज में यहां बनेंगे पार्क
सोलर एनर्जी पार्क बनाने के लिए केंद्र सरकार को कई राज्यों ने प्रस्ताव भेजा है। इनमें राजस्थान टॉप पर है। यहां 3180 मेगावाट के 4 सोलर पार्क बनेंगे। मध्यप्रदेश में 2750 मेगावाट क्षमता के 2 पार्क, आंध्रप्रदेश में 2 पार्क। कर्नाटक में 2000 मेगावाट क्षमता के दो पार्क, तेलंगना में 1000 मेगावाट क्षमता का एक पार्क, गुजरात में 700 मेगावाट, उतर प्रदेश में 600 मेगावाट, केरल में 200 मेगावाट, तमिलनाडू में 500, हिमाचल प्रदेश में 100, महाराष्ट्र में 500, पश्चिम बंगाल में 500 मेगावाट क्षमता सहित अरुणाचल प्रदेश, नागालैंड, उतराखंड, जम्मू -कश्मीर में भी सोलर पार्क बनाए जाएंगे।
वर्जन
हम लोगों को भी मिनिस्ट्री ऑफ न्यु रिन्युवल एनर्जी से सोलर एनर्जी पार्क बनाने के लिए प्रस्ताव मांगा गया था, लेकिन एक साथ 1000 एकड़ जमीन नहीं मिल पा रही है। इसी कारण प्रस्ताव नहीं भेजा गया है। सभी जिलों को जमीन उपलब्ध कराने के लिए पत्र लिखा गया है। जमीन मिलते ही प्रस्ताव भेज दिया जाएगा।
-अरविंद कुमार, प्रोजेक्ट डायरेक्टर, झारखंड रिन्युबल एनर्जी।