पणजी (आईएएनएस)। स्वतंत्रता सेनानी गाेवा में चार बार मुख्यमंत्री रहे पद्म भूषण मनोहर पर्रिकर की याद में प्रस्तावित म्यूजियम का विरोध कर रहे हैं। सरकारी योजना के मुताबिक, अगुडा जेल परिसर में प्रस्तावित म्यूजियम पर्रिकर को समर्पित होगा। अभी यहां मरम्मत का काम चल रहा है। उनका कहना है कि यह स्थान स्वतंत्रता सेनानियों को समर्पित होना चाहिए जिनमें से ज्यादातर को पुर्तगालियों के शासन काल के दौरान किले में कैद रखा गया था।
1961 में मिली थी गोवा को पुर्तगालियों से आजादी
स्वतंत्रता सेनानियों की याद में इस स्थान को विकसित करना चाहिए और वहां 1961 से पूर्व की तस्वीरों, पुरावशेषाें इत्यादि को दिखाने के लिए रखा जाना चाहिए। पुर्तगालियों के 451 साल की गुलामी से गोवा को 1961 में आजादी मिली थी। गोवा दमन और दीयू स्वतंत्रता सेनानी संगठन के प्रवक्ता नागेश कर्माली ने बुधवार को कहा कि अगुडा फोर्ट म्यूजियम को कुछ करने की जरूरत नहीं है। इसे गोवा के स्वतंत्रता आंदोलन के इतिहास के रूप में संरक्षित और समर्पित करने की जरूरत है।
पूर्व सीएम की व्यक्तिगत चीजें होंगी प्रदर्शित
करमाली का यह बयान गोवा के पोर्ट मंत्री माइकल लोबो के एक बयान के कुछ दिन बाद आया है। मंत्री ने अपने बयान में कहा था कि जिस सदियों पुराने परिसर की मरम्मत का काम चल रहा है वहां राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री पर्रिकर को समर्पित एक म्यूजियम बनाया जाएगा। म्यूजियम में उनके व्यक्तिगत इस्तेमाल की चीजें प्रदर्शित की जाएंगी, जिनमें चप्पलें भी शामिल हैं। करमाली ने कहा कि अगुडा फोर्ट कैदी बनाए गए स्वतंत्रता सेनानियों की प्रताड़ना और उनके संघर्ष का प्रतीक है।
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