कार्जिनोविक बने हीरो
सर्बिया के लिए हीरो की भूमिका निभाते हुए कार्जिनोविक ने यूकी को 6-3, 6-4, 6-4 से मात दी, जिसके साथ ही 2010 की चैंपियन सर्बिया वर्ल्ड ग्रुप में अपनी जगह एक बार फिर पक्की कर ली. इस नतीजे का मतलब ये हुआ कि अब भारत 2015 के सत्र में एशिया-ओशियाना जोन में एक बार फिर कोर्ट पर उतरेगा. भारत ने आखिरी बार 2011 में विश्व ग्रुप में जगह बनाई थी. दिलचस्प बात ये है कि उस दौरान भी पहले राउंड में सर्बिया ने ही उन्हें मात दी थी.
युकी नहीं दिखे लय में
इस मैच के दौरान युकी बिल्कुल भी फॉर्म में नजर नहीं आये. उन्होंने कई छोटी-छोटी गलतियां की. उनके पास दो बार अपने कंपटीटर की सर्विस तोड़ने का मौका था, लेकिन वह ऐसा नहीं कर सके. सुबह मुकाबला बहाल होने के समय वह 4-6, 4-4 से पीछे थे. उन्होंने आते ही अपनी सर्विस गवांई और जब सर्विस तोड़ने का मौका आया तो वह चूक गये. इसके अलावा दूसरे सेट में युकी ने दो प्वॉइंट गंवाये, जब क्राजिनोविच ने जबर्दस्त खेल का प्रदर्शन किया. आपको बता दें कि डेविस कप के 114 साल के इतिहास में सिर्फ 51 बार 0-2 से पिछड़ने के बाद किसी देश ने मुकाबला जीता है. इंडिया सिर्फ एक बार ही ऐसा कर पाया है.
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