क़रीब 200 लोगों ने मलेशिया दूतावास तक जुलूस निकाला. उनके हाथों में तख्तियां थीं जिन पर लिखा था कि मलेशिया सरकार इस मामले में सच बताए.
सुरक्षाकर्मियों ने जब उन्हें रोकने की कोशिश की तो प्रदर्शनकारी उनसे उलझ गए.
इस बीच लापता विमान का पता लगाने के लिए हिंद महासागर में चलाए जा रहे अभियान को ख़राब मौसम के कारण रोक दिया गया है.
ऑस्ट्रेलियाई सामुद्रिक सुरक्षा प्राधिकरण (एम्सा) ने कहा कि तेज़ हवाओं और बारिश के कारण विमानों की उड़ान संभव नहीं है.
अधिकारियों का कहना है कि तलाशी अभियान बुधवार को फिर शुरू हो सकता है.
इससे पहले मलेशिया के प्रधानमंत्री नजीब रज़ाक ने मंगलवार को कहा था कि सैटेलाइट से मिली तस्वीरों के विश्लेषण से संकेत मिले हैं कि मलेशिया एयरलाइंस की उड़ान संख्या एमएच-370 की यात्रा हिंद महासागर के दक्षिणी हिस्से में समाप्त हुई.
उन्होंने यह भी कहा कि इस बात की भी आशंका है कि विमान में सवार सभी लोगों की मौत हो गई है.
मलेशिया के दावों पर सवाल
चीन ने उन आँकड़ों को देखने की बात कही है जिनके आधार पर मलेशिया इस नतीजे पर पहुंचा है.
मलेशियाई विमान के दुर्घटनाग्रस्त होने की पुष्टि के बााद विमान में सवार यात्रियों के परिवार में शोक की लहर दौड़ गईं.
आठ मार्च को मलेशिया एयरलाइंस की उड़ान संख्या एमएच-370 ने स्थानीय समयानुसार सुबह 12.41 बजे कुआलालांपुर से बीजिंग के लिए उड़ान भरी थी.
इस विमान में 227 यात्री और चालक दल के 12 सदस्य सवार थे.
सह-पायलट ने एयर ट्रैफ़िक कंट्रोलर को 1.19 बजे संदेश दिया-''ऑल राइट, गुड नाइट."
उस समय अधिकारियों ने बताया कि मलेशियाई विमान में दो ऐसे यात्री भी सवार हुए हैं, जिनके पास चोरी किए हुए पासपोर्ट हैं. इससे संदेह पैदा हुआ था कि विमान के लापता होने के पीछे चरमपंथियों का हाथ हो सकता है.
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