प्रमोद ने हत्या करने के लिए अपराधियों का इंतजाम किया, जबकि प्रेम सिंह ने रुपए का प्रबंध। हत्या का कारण बिजनेस राइवेलरी है। इधर, साकेत की हत्या करने वाला एक शख्स राजू उर्फ जीतू उपाध्याय उर्फ गोगो को भी पुलिस ने दबोच लिया है।
दुर्गेश गिरोह का मेंबर है गोगो
पटना पुलिस गोगो की तलाश में लगी थी, लेकिन वह उसके हत्थे नहीं चढ़ रहा था। आखिरकार पुलिस को इंफार्मेशन मिली कि वह जमुई में किसी जोगी ठाकुर के घर में छिपा है। पटना पुलिस ने जमुई एसपी से बात की और गोगो को वहां दबोच लिया गया। साकेत गुप्ता को मारने वालों में गोगो भी शामिल था। उसने इसे कबूल भी किया है। वह दुर्गेश शर्मा गिरोह का मेंबर है। वह आरा में वर्ष 2009 में हुई 26 लाख की डकैती कांड में फरार था.
7 मई को मारे गए थे साकेत
साकेत गुप्ता की हत्या मामले में प्रेम सिंह की भूमिका अधिक थी। एक ओर जहां प्रमोद ने पूरी साजिश रची, वहीं इसमें प्रेम सिंह भी शामिल रहा। सीनियर एसपी अमृत राज ने बताया कि साजिश करने वाले प्रमोद यादव ही है और प्रेम सिंह ने उसमें पूरी तरह सहयोग किया। रकम की व्यवस्था की। गौरतलब है कि 7 मई को डीजी अशोक कुमार गुप्ता के भाई साकेत गुप्ता की हत्या अपराधियों ने कुम्हरार पार्क में कर दी थी। इस कांड में आठ लोगों को नेम्ड किया गया था। इसमें प्रेम सिंह, प्रमोद यादव, मुकेश शर्मा, राजू सिन्हा, पिन्टू कुमार, पंकज कुमार, कुक्कू और गोगो शामिल थे.
'प्रेम कांड का भी होगा खुलासा'
साकेत गुप्ता की हत्या होने के दो दिन बाद ही एक्यूज्ड प्रेम सिंह की डेडबॉडी कुम्हरार रेलवे ट्रैक पर मिली थी। वह क्षत-विक्षत थी। इस हत्याकांड के कातिलों तक पुलिस पहुंच अभी नहीं पाई है। सीनियर एसपी अमृत राज ने बताया कि पुलिस इस दिशा में लगी है, लेकिन अब तक सफलता नहीं मिली है। जल्द ही इस कांड का भी खुलासा हो जाएगा। सच्चाई सामने आ जाएगी.
साकेत हत्याकांड पर एक नजर
7 मई : कुम्हरार पार्क में साकेत गुप्ता की गोली मारकर हत्या.
7 मई : हत्या कर भाग रहे राजू और पिन्टू दबोचे गए.
9 मई : एक्यूज्ड प्रेम सिंह की रेलवे ट्रैक पर मिली लाश।
15 मई : प्रमोद यादव ने सिटी कोर्ट में किया सरेंडर.
19 मई : आरोपी मुकेश शर्मा ने सिटी कोर्ट में किया सरेंडर.
20 मई : पंकज ने आरा कोर्ट में किया सरेंडर.
23 मई : गया कोर्ट में सरेंडर के लिए जाने के दौरान धराया था कुक्कू.
17 जून : आरोपी गोगो को पुलिस ने जमुई से दबोचा.