पटना ब्‍यूरो।

सीओ और राजस्व अधिकारी भूमि निपटारे के मामले में जीरो टॉलरेंस

डीएम चंद्रशेखर सिंह ने भूमि सुधार उप समाहर्ताओं एवं अंचल अधिकारियों को संबोधित करते हुए कहा कि राजस्व प्रशासन कोर कार्य है। आप सभी को इसी भावना से काम करना चाहिए। फिर भी ऐसा संज्ञान में आता है कि आम लोगों को काफी असुविधा हो रही है। लोगों को काफी शिकायतें हैं। यह अच्छी बात नहीं है। सरकार द्वारा निर्धारित मानकों के अनुपालन में शिथिलता के विरूद्ध जिला प्रशासन की शून्य सहिष्णुता (जीरो टॉलरेंस) है।


डीएम ने ई म्यूटेशन परिमार्जन भू-अर्जन का किया समीक्षा

पटना डीएम डॉ। चन्द्रशेखर सिंह द्वारा राजस्व मामलों की समीक्षा की गई। उन्होंने ई-म्यूटेशन, परिमार्जन, भू-अर्जन, भूमि विवाद निराकरण, अतिक्रमण हटाने, नापीवाद, सीमांकन सहित विभिन्न मामलों में अद्यतन प्रगति का जायजा लिया। जिलाधिकारी ने कहा कि किसी भी अंचल में दाखिल-खारिज एवं परिमार्जन का निर्धारित समय-सीमा के बाद एक भी आवेदन लंबित नहीं रहनी चाहिए। 15 दिन के अंदर एक्सपायर्ड आवेदनों की संख्या हर हाल में शून्य कर लें अन्यथा लापरवाह अंचलाधिकारियों के विरूद्ध सख्त कार्रवाई की जाएगी।


8,31,979 आवेदनों को निष्पादित किया गया

समीक्षा में पाया गया कि दिनांक 31 अगस्त, 2024 तक दाखिल-खारिज के 8,93,131 प्राप्त आवेदनों में से 8,31,979 आवेदनों को निष्पादित किया गया है। यह प्राप्त आवेदनों का 93.15 प्रतिशत है। अद्यतन स्थिति की समीक्षा करते हुए डीएम डॉ। सिंह ने पाया कि दिनांक 10 अगस्त, 2024 से 31 अगस्त, 2024 तक पूरे जिले में दाखिल-खारिज के प्राप्त एवं निष्पादित वादों की संख्या क्रमश: 298 तथा 10,423 है। डीएम डॉ। सिंह ने सभी आवेदनों का ससमय एवं गुणवत्तापूर्ण निष्पादन करने का आदेश दिया। डीएम डॉ। सिंह ने अंचलाधिकारियों को निदेश दिया कि प्राप्त आवेदनों की तुलना में नियमानुसार निष्पादन की गति तेज रखें ताकि बैकलॉग को तुरत खत्म किया जा सके। उन्होंने विशेष प्रयास कर समय-सीमा पार लंबित मामलों को शीघ्र निष्पादित करने का निर्देश दिया।

आवेदन अस्वीकृत की दर 36.26 प्रतिशत

डीएम ने कहा कि दाखिल-खारिज के आवेदनों को अस्वीकृत करने में विशेष सावधानी बरतें तथा सरकार द्वारा निर्धारित दिशा-निदेशों का अक्षरश: अनुपालन सुनिश्चित करें। उन्होंने कहा कि जिला में यह दर 36.23 प्रतिशत है। इससे अधिक जिन-जिन अंचलों में दाखिल-खारिज के मामलों को अस्वीकृत किया गया है वहाँ भूमि सुधार उप समाहर्ता समीक्षा कर प्रतिवेदन देंगे।

जिले में 75 दिनों से अधिक लंबित दाखिल-खारिज के मामलों की समीक्षा की गई। इस मानक पर अच्छा प्रदर्शन करने वाले अंचलों में खुशरूपुर में 40 मामले, दनियावॉ में 60 मामले, घोसवरी में 60 मामले, बेलछी में 87 मामले तथा अथमलगोला में 232 मामले लंबित हैं। खराब प्रदर्शन करने वाले अंचलों में पटना सदर में 4,868 मामले, सम्पतचक में 3,819 मामले, बिहटा में 3,518 मामले, धनरूआ में 2,644 मामले एवं दानापुर में 2,358 मामले लंबित हैं। डीएम डॉ। सिंह ने इसपर अप्रसन्नता व्य1त करते हुए दाखिल-खारिज में खराब प्रदर्शन करने वाले अंचलों के अंचलाधिकारियों को स्थिति में तुरत सुधार लाने का निदेश दिया।

डीएम ने लापरवाही बरतने वाले अधिकारियों को एक्शन की दी चेतावनी

डीएम डॉ। सिंह ने कहा कि भूमि सुधार एवं राजस्व विभाग के प्रावधानों के अनुसार निर्धारित समय सीमा के अंदर दाखिल खारिज नहीं करने वाले दोषी अधिकारियों के विरुद्ध सख्त कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने अपर समाहर्ता को निदेश दिया कि लापरवाही बरतने वाले अधिकारियों के विरूद्ध कार्रवाई हेतु प्रस्ताव उपस्थापित करें।

सम्पतचक, फुलबारीशरीफ, नौबतपुर व मोकामा में शत प्रतिशत केस निष्पादित

31 अगस्त, 2024 तक परिमार्जन के 2,99,824 प्राप्त आवेदनों में से 2,99,657 आवेदनों (99.94 प्रतिशत) को निष्पादित किया गया। दनियावॉ (99.22 प्रतिशत निष्पादन), धनरूआ (99.50 प्रतिशत निष्पादन), पालीगंज (99.92 प्रतिशत निष्पादन), फतुहा (99.94 प्रतिशत निष्पादन) एवं पुनपुन (99.95 प्रतिशत निष्पादन) खराब प्रदर्शन करने वाले अंचलों में शामिल है। इस मामले में सम्पतचक (100 प्रतिशत निष्पादन), फुलवारीशरीफ (100 प्रतिशत निष्पादन), पंडारक (100 प्रतिशत निष्पादन), नौबतपुर (100 प्रतिशत निष्पादन) तथा मोकामा (100 प्रतिशत निष्पादन) ने अच्छा प्रदर्शन किया है।


एलपीएसी, नापी व एनक्रोचमेंट का मामला जल्द निपटायें

डीएम डॉ। सिंह ने भूमि स्वामित्व प्रमाण पत्र, नापीवाद, सार्वजनिक भूमि पर से अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई, भू-अर्जन, भूमि विवाद निराकरण के लंबित मामलों का त्वरित गति से निष्पादन करने का निर्देश दिया।