पटना (ब्यूरो) जगदंबी प्रसाद यादव स्मृति प्रतिष्ठान एवं अंतर्राष्ट्रीय हिन्दी परिषद के संयुक्त तत्वावधान में विश्व हिंदी दिवस के अवसर काव्य गोष्ठी अवसर पर राजभाषा संगोष्ठी एवं काव्यगोष्ठी का आयोजन किया गया।

इस कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए भारत सरकार की हिन्दी सलाहकार समिति के सदस्य सह विश्व हिन्दी दिवस के प्रस्तावक वीरेंद्र कुमार यादव ने अपने उद्बोधन में कहा कि अपनी सांस्कृतिक विविधता व विभिन्न भाषाओं की विरासत पर हर भारतवंशी को गर्व है। हमारी संस्कृति, संस्कार, ज्ञान और परंपरा को देश-दुनिया में पहुँचाने में हिन्दी की भूमिका अहम हैअंतर्राष्ट्रीय स्तर पर भारत की पहचान और भारतवंशियों को एकता के सूत्र में पिरोने में हिन्दी भाषा योगदान उल्लेखनीय है।

मुख्य अतिथि भारतीय प्रशासनिक सेवा के पूर्व अधिकारी डॉ गोरेलाल ने कहा कि आज हिन्दी को साहित्य की भाषा से शासन और प्रशासन, ज्ञान और विज्ञान की भाषा बनाने की आवश्यकता है.सूचना प्रौद्योगिकी और तकनीक की भाषा हिन्दी बन गई है। इससे पूर्व कार्यक्रम का शुभारंभ लोकगायिका डॉ। नीतू कुमारी नवगीत के सरस्वती वंदना से हुई।

अध्यक्षता श्री सिद्धेश्वर ने की।