एक्यूट इंसेफेलाइटिस ङ्क्षसड्रोम (एईएस-चमकी) या मस्तिष्क ज्वर ने राजधानी पटना में दस्तक दे दी है। पीरबहोर इलाके की सात वर्षीय बच्ची को पीएमसीएच के शिशु रोग विभाग में भर्ती कराया गया है। विभागाध्यक्ष डा। भूपेंद्र नारायण ने बताया कि मंगलवार को एक बच्ची भर्ती कराई गई है। उसमें चमकी के लक्षण थे। बच्ची का उपचार चल रहा है और हालत स्थिर है।
मई से बढऩे लगते हैं एईएस के मरीज
प्रदेश के मुजफ्फरपुर, समस्तीपुर, दरभंगा, गोपालगंज, पटना, पूर्वी व पश्चिम चंपारण, सारण, सिवान, वैशाली, सीतामढ़ी और शिवहर जैसे जिले एईएस के संभावित क्षेत्र हैं। इन जिलों में मई-जून के महीने में एईएस के मामले ज्यादा सामने आते हैं। विगत चार वर्षों में इससे होने वाली मौतों में भारी कमी आई है।
एक्यूट इंसेफेलाइटिस ङ्क्षसड्रोम क्या है
एक्यूट इंसेफेलाइटिस ङ्क्षसड्रोम होने पर शरीर का नर्वस यानी तंत्रिका तंत्र प्रभावित होता है। बच्चों में इसके गंभीर लक्षण ज्यादा उभरते हैं। इससे पीडि़त बच्चों में बुखार अचानक शुरू होता है। शरीर में ऐंठन होती है। ऐसे में यदि बच्चों को तुरंत उपचार मिल जाए तो उनके जीवित रहने की उम्मीद बढ़ जाती है।
रोग के लक्षण
मस्तिष्क ज्वर, सिरदर्द, ऐंठन, उल्टी और बेहोशी, कमजोरी, कुछ रोगियों की गर्दन में अकडऩ और गंभीर होने पर झटके।