राज्य सभा में एफडीआई पर हुई वोटिंग में यूपीए गवर्नमेंट ने बाजी मार ली. वोटिंग में गवर्नमेंट के फेवर में 123 वोट पड़े और अगेंस्ट में 109 वोट मिले. इस तरह से लोकसभा की तरह राज्यसभा में भी अपोजिशन की एफडीआई पर हार हुई. गवर्नमेंट की एफडीआई पर जीत के बाद यह साफ हो गया कि अब दुनिया के बड़े देशों में एफडीआई की तरह हमारे देश में विदेशी किराना स्टोर खुलेंगे.
हाथी पर चढ़कर एफडीआई इंडिया आया
अगर ये कहें कि देश में एफडीआई की एंट्री हाथी पर सवार होकर हुई है तो यह गलत नहीं होगा. अगर राज्यसभा में यूपीए गवर्नमेंट को एफडीआई पर मायावती का साथ नहीं मिलता तो यह पॉसिबल नहीं था कि यह बिल पास हो पाता. जहां राज्यसभा में बीएसपी ने गवर्नमेंट के लिए वोटिंग की वहीं यूपी की दूसरी पार्टी एसपी ने वाकआउट कर गवर्नमेंट को सपोर्ट किया. इस तरह गवर्नमेंट को जीत के लिए 117 वोटों की जरूरत थी और उसे 123 वोट मिल गए.
राज्यों पर थोपा नहीं जाएगा FDI
देश में भले ही विदेशी किराना स्टोर खुलने का रास्ता साफ हो गया है मगर किसी भी स्टेट में ये स्टेट गवर्नमेंट की मर्जी से ही खुलेंगे. यानि अगर कोई स्टेट गवर्नमेंट अपने यहां एफडीआई लागू नहीं करना चाहती है तो वह इसके लिए फ्री है. केंद्र सरकार किसी भी स्टेट पर एफडीआई थोप नहीं सकती है. अब देखना है कि रिटेल में एफडीआई से देश फायदा होता है या नुकसान. कितने राज्य इसे अपने यहां लागू करते हैं और कितने नहीं.
FDI पर जोरदार बहस और हंगामा
राज्यसभा में एफडीआई को पास कराने के लिए गवर्नमेंट को अपोजिशन के तीखे तेवरों का सामना करना पड़ा. अपोजिशन ने इस मामले पर जमकर हंगामा किया. जिस वजह से राज्यसभा की कार्यवाही स्थगित भी करनी पड़ी. गवर्नमेंट ने एफडीआई पर आम सहमित बनाने की भी कोशिश की.
गवर्नमेंट की जीत के साथ ही यह तय हो गया कि अब भारत में जल्द ही विदेशी किराना स्टोर खुलने शुरू हो जाएंगे. अब इस सेक्टर की बड़ी कंपनी वालमार्ट ने भी देश में अपने कदम बढ़ाने शुरू कर दिए हैं.
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